कीरत चावी कच्छ री(१) -संग्राम सिंह सोढा कृत
कीरत चावी कच्छ री(१) –संग्राम सिंह सोढा कृत डिंगळ काव्य में पैलीपोत सुधी पाठकां सारू कच्छ री ऐतिहासिक,सांस्कृतिक, भौगोलिक,प्राकृतिक छटा रौ लूंठो वरणाव अर सांगौपांग पद्यबद्ध जाणकारी देवण री कीं…
कीरत चावी कच्छ री(१) –संग्राम सिंह सोढा कृत डिंगळ काव्य में पैलीपोत सुधी पाठकां सारू कच्छ री ऐतिहासिक,सांस्कृतिक, भौगोलिक,प्राकृतिक छटा रौ लूंठो वरणाव अर सांगौपांग पद्यबद्ध जाणकारी देवण री कीं…
किनियाणी करनल्ल देवी भल देशाण री, अरपै सीख अवल्ल। जग री चावी जोगणी, किनियाणी करनल्ल।।१।। नामी तूं नारायणी, हर जन काढै हल्ल। साद सांभळै सेवगां, किनियाणी करनल्ल।।२।। अवल करुं आराधना,…
अथ छाछरो के भोजराज सोढा लालजी और वींझराजजी का मरसिया कवि खूमदान बारहठ कृत टँकन कर्ता – संग्राम सिंह सोढा सचियापुरा दोहा छत्रिकुळ वंका छाछरे, देतल कवियां दात। कर भलप…
सोढाण रा स्वतन्त्रता सैनानी सिद्ध जिद्द सैनाणियां ,हद राखी हिंदवाण। धड़ रहतां नह दी धरा ,सो धरती सोढाण।।1।। गोरां रा दळ घेरिया,काळूझर कल्याण। कायम राखी कीरती,सो धरती सोढाण।।2।। मरसां तो…
सोढाण री देवियां अर सतियां आवड़ एथ ज अवतरी,दुख काटण दुनियाण। समद हाकड़ो सोखणी,सो धरती सोढाण।।1।। हिंगळा प्रगटी एथ ही,मात वडी पिछमाण। मेहर मकवाणां तणी,सो धरती सोढाण।।2।। देवल खारोड़ै दिपै,परचा…