Thu. Nov 21st, 2024

Category: स्तुति

चिरजा- बिड़द रख बीसहथी वरदाई – डॉ गजादान चारण शक्तिसुत

बिड़द रख बीसहथी वरदाई, सेवग दुख हर लीजे सुरराई। खल को खंडन कर खलखंडनि, मेछां उधम मचाई। संतन के मन गहरो सांसो, पुनि-पुनि-पुनि पछताई।।1।। खल संग निर्मल होय सफल कब,…

पीर की स्तुति:- कानदासजी मेहडू

पीर की स्तुति:- कानदासजी मेहडू कानदासजी मेहडू नाम के हिंदूधर्मी चारण, जब खुद कोई झूठे इल्ज़ाम के लिए अंग्रेजों के कैदी बने, उस समय उन्होंने दरीयाई पीर की स्तुति कि…

देवी स्तुति – नरपतदान आशिया ‘वैतालिक’

हैदराबाद स्टूडियो में “देवी स्तुति” की रिकॉर्डिंग। कविता: नरपत आशिया वैतालिक रचना: रामावतार दयामा जी, गायक: पूरवा गुरु जी नवरात्रि पर स्तुति रिलीज होगी। देवी स्तुति जय जग जननी! आसुर…

हे चारणी सुख कारणी – आई सोनल माँ कृत स्तुति

सुनने के लिए विडियो लिंक पर क्लिक करें। स्वर- कुलदीप गढवी हे चारणी सुख कारणी ब्रह्मचारणी आई सरण। सच्चिदानंद सारदा मंगळमयी मणमूं चरण।।1।।टेर अम्बिका आवड़ आस पूरण हां तिहारा हि…

सुं कीर्ति करुं सोनला, तारी महीमां अपरम्पार- आशूदान मेहड़ू जयपुर

माँ भवानी पण, अति बलशाली श्रेष्ठतम शक्ति छे जेना आधारे आ जगत टकेलो छे। शक्तिविहीन जीव अथवा आखो बृहमांड नकामो छे। एज शक्ति थी बधुं संचालन थाय छे। शक्ति ना…

दुर्गा-स्तुति स्तौत्र – राजेंन्द्रसिंह कविया संतोषपुरा सीकर

!! दुर्गा-स्तुति स्तौत्र !! अयि गिरिननि नंदितमेदिनि विश्वविनोदिनि नंदनुते गिरिवर विंध्य शिरोधिनिवासिनि विष्णुविलासिनि जिष्णुनुते।  सुरवरवर्षिणि दुर्धरधर्षिणि दुर्मुखमर्षिणि हर्षरते त्रिभुवनपोषिणि शंकरतोषिणि किल्बिषमोषिणि घोषरते। अयि गिरिननि नंदितमेदिनि विश्वविनोदिनि नंदनुते गिरिवर विंध्य शिरोधिनिवासिनि…

आद शक्ति आवाहन – आशूदान मेहडू़ जयपुर

हमारी देव संस्कृति मत मतानुसार “नवरात्रि पर्व” दोनों चैत्र एवं आसोज नवरात्रि सिद्धि साधना, देव आराधना, मनोवांछित फल दात्रा, इष्टयात्रा एवं शत्रुनाश, रोगमुक्ति तथा अनेक सिद्धियां देने वाले अमोघ पर्व…

मैया से वंदना – आशूदान मेहडू

“सर्वत्र शुभम भवतु” आज चैत्र नवरात्रि के पावन दिवस पर श्री देवी की इस शुभ स्थपना वेला मे आप सभी परिचितों, मित्रों, स्नेहियों एवं अध्यात्मिक प्रेमियों को मैं स्हृदय नमन…

शनिदेव की स्तुति – खेतदान मीसण

कहते है जब किसी का समय खराब चल रहा हो या किस्मत साथ न दे रही हो तो लोग कहते है कि ग्रह अच्छे नही है,या शनि देव का प्रकोप…